Dr. Zeel Gandhi, BAMS
Written by , (शिक्षा- बैचलर ऑफ जर्नलिज्म एंड मीडिया कम्युनिकेशन)

खुजली की समस्या किसी को भी हो सकती है। जहां कई बार यह त्वचा में नमी की कमी के कारण होती है, तो वहीं दूसरी ओर इसके पीछे का कारण संक्रमण भी हो सकता है (1)। खुजली होने पर त्वचा को खुरचने से भले ही कुछ देर के लिए आराम मिल जाए, लेकिन इससे समस्या कम नहीं होती, बल्कि और भी बढ़ सकती है। कुछ मामलों में यह समस्या गंभीर हो जाती है और खुजली से छुटकारा पाना मुश्किल हो जाता है। इन परिस्थितियों में खुजली का घरेलू इलाज अपनाया जा सकता है। स्टाइलक्रेज के इस लेख में जानिए घरेलू नुस्खों से खुजली को कैसे कम करें। साथ ही जानिए अन्य जरूरी जानकारी।

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इस लेख में सबसे पहले हम खुजली के प्रकार के बारे में जानकारी देंगे।

खुजली के प्रकार – Types of Itching in Hindi

खुजली के प्रकार उससे जुड़ी समस्या के आधार पर समझाया जा सकता है। इस आधार पर खुजली के चार प्रकार बताए गए हैं (2) :

  1. न्यूरोजेनिक खुजली : इस प्रकार की खुजली उन विकारों के कारण होती है, जो त्वचा के अलावा अन्य अंगों को प्रभावित करते हैं। इसमें किडनी, लिवर, खून और कैंसर से जुड़ी समस्याएं शामिल हैं। यह खुजली केंद्रीय तंत्रिका तंत्र के जरिए फैलती है।
  1. साइकोजेनिक खुजली : साइकोजेनिक खुजली को एक मनोवैज्ञानिक रोग माना जाता है। इस प्रकार की खुजली में सामान्य त्वचा पर खुजली करने की तीव्र इच्छा होती है। माना जाता है कि इस प्रकार की खुजली डिप्रेशन, एंग्जाइटी और अन्य मानसिक विकारों के कारण हो सकती है।
  1. न्यूरोपैथिक खुजली : इस प्रकार की खुजली केंद्रीय या पेरिफेरल न्यूरॉन्स (नर्वस सिस्टम से जुड़ा) को क्षति पहुंचने के कारण होती है। यह खुजली तंत्रिका तंत्र से जुड़े विकारों जैसे पैरेस्थेसिया (हाथों में लगातार सुई चुभने जैसा एहसास) के कारण हो सकती है। यह विकार कई बार खुजली के साथ दर्द का भी कारण बन सकते हैं।
  1. प्रुरिटोसेप्टिव खुजली : इस खुजली के लिए अक्सर त्वचा विशेषज्ञ से परामर्श किया जाता है। यह खुजली सूजन या किसी स्किन डैमेज के कारण हो सकती है। यह बढ़ती उम्र या स्किन एलर्जी के कारण भी हो सकती है।

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चलिए, अब जानते हैं कि खुजली के कारण क्या क्या हो सकते हैं।

खुजली के कारण – Causes of Itching in Hindi

शरीर में खुजली होने का कारण एक नहीं होता। यह कई कारणों से हो सकती है, जैसे (1) :

  • स्किन एजिंग
  • डर्मेटाइटिस (त्वचा पर लाल व खुजलीदार चकत्ते)
  • साबुन, केमिकल या अन्य किसी चीज से जलन
  • रूखी त्वचा
  • पित्ती (हाइव्स)
  • सोरायसिस (त्वचा पर खुजली, रैशेज और चकत्ते)
  • कीड़े का काटना/डंक
  • रैशेज
  • सनबर्न
  • चिकन पॉक्स
  • स्किन एलर्जी
  • हेपेटाइटिस
  • आयरन की कमी (एनीमिया)
  • किडनी से जुड़े विकार
  • पीलिया और लिवर से जुड़े विकार
  • गर्भावस्था
  • किसी दवा का दुष्प्रभाव

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खुजली के कारण बताने के बाद अब खुजली के लक्षण की जानकारी दे रहे हैं।

खुजली के लक्षण – Symptoms of Itching in Hindi

पूरे शरीर में खुजली होना, अपने आप में कोई बीमारी नहीं है और इसलिए इसके कोई लक्षण नहीं है। हां, खुजली किसी अन्य बीमारी का लक्षण हो सकती है और इस कारण खुजली का इलाज समय रहते करवाना जरूरी है (3)।

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आइये, अब जान लेते हैं खुजली के घरेलू उपाय में क्या-क्या शामिल किया जा सकता है।

खुजली के घरेलू उपाय – Home Remedies for Itching in Hindi

नीचे खुजली के लिए घरेलू उपाय बताए गए हैं, जो खुजली से कुछ हद तक आराम दिलाने में मदद कर सकते हैं। हम यहां बता दें कि ये घरेलू नुस्खे खुजली का इलाज नहीं हैं और समस्या गंभीर होने की स्थिति में डॉक्टरी इलाज करवाना जरूरी है। अब पढ़ें आगे :

1. बेकिंग सोडा

सामग्री :

  • आधा कप बेकिंग सोडा
  • एक बाथटब में गुनगुना पानी

उपयोग करने का तरीका :

  • नहाते समय बाथटब में आधा कप बेकिंग सोडा मिला लें।
  • अब इस पानी में लगभग 15-20 मिनट के लिए शरीर को डुबोकर बैठ जाएं।
  • अंत में साफ पानी से नहा लें।

कैसे है लाभदायक :

खुजली का घरेलू उपाय करने के लिए बेकिंग सोडा का उपयोग किया जा सकता है। एक वैज्ञानिक रिसर्च की मानें, तो बेकिंग सोडा युक्त पानी से स्नान करने पर खुजली (पानी की वजह से होने वाली खुजली) से आराम मिल सकता है (4)। हालांकि, इसकी कार्यप्रणाली को बेहतर तरीके से जानने के लिए अभी और शोध किए जाने की आवश्यकता है।

2. तुलसी

सामग्री :

  • एक मुट्ठी तुलसी की पत्तियां
  • एक बाल्टी गुनगुना पानी

उपयोग करने का तरीका :

  • खुजली के लिए घरेलू उपाय करने के लिए एक बाल्टी पानी में एक मुट्ठी तुलसी की पत्तियां उबाल लें।
  • अब इस पानी से स्नान करें।
  • चाहें, तो तुलसी की पत्तियों का पेस्ट बनाकर प्रभावित जगह पर लगाया जा सकता है।

कैसे है लाभदायक :  

तुलसी एक गुणकारी औषधि है, जिसका इस्तेमाल खुजली के लिए घरेलू उपाय के रूप में किया जा सकता है। एक वैज्ञानिक रिसर्च में दिया हुआ है कि तुलसी के इस्तेमाल से खुजली की समस्या को कम किया जा सकता है। साथ ही यह त्वचा को बैक्टीरियल और फंगल इन्फेक्शन के जोखिम से बचाने में भी मददगार हो सकती है। इसके लिए तुलसी में मौजूद एंटीमाइक्रोबियल गुण काम कर सकते हैं (5)।

3. नींबू

सामग्री :

  • एक-दो नींबू
  • कॉटन पैड

उपयोग करने का तरीका :

  • खुजली की दवा के रूप में एक या दो नींबू का रस निकाल लें।
  • अब कॉटन पैड को नींबू के रस में डुबोएं और खुजली वाले स्थान पर लगाएं।
  • अगर त्वचा संवेदनशील है, तो नींबू के रस में थोड़ा पानी भी मिला सकते हैं।

कैसे है लाभदायक

नींबू के उपयोग से खुजली का घरेलू उपाय किया जा सकता है। एनसीबीआई (नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इंफॉर्मेशन) की वेबसाइट पर एक वैज्ञानिक रिसर्च के मुताबिक, नींबू में एंटीएजिंग गुण पाए जाते हैं, जो बढ़ती उम्र के कारण होने वाली खुजली का घरेलू इलाज करने में मदद कर सकते हैं (6)।

साथ ही, नींबू विटामिन-सी से समृद्ध होता है (7)। वहीं, विटामिन-सी का उपयोग एटॉपिक डर्मेटाइटिस (खुजली और सूजन से जुड़ी त्वचा समस्या) जैसी त्वचा समस्या में लाभकारी हो सकता है। बता दें कि एटॉपिक डर्मेटाइटिस को भी खुजली का एक कारण माना गया है (8)। 

4. एलोवेरा जेल

सामग्री :

  • एलोवेरा जेल (आवश्यकतानुसार)

उपयोग करने का तरीका :

  • खुजली का घरेलू उपाय करने के लिए एलोवेरा जेल को प्रभावित त्वचा पर लगाएं।

कैसे है लाभदायक :

एलोवेरा का उपयोग खुजली होने पर घरेलू उपाय के रूप में किया जा सकता है। एनसीबीआई द्वारा प्रकाशित शोध में पाया गया है कि एलोवेरा में मॉइस्चराइजिंग और एंटीएजिंग गुण पाए जाते हैं। वहीं, इन दोनों गुणों की मौजूदगी के कारण एलोवेरा जेल रूखी त्वचा और एजिंग की वजह से होने वाली खुजली की समस्या में आराम दिलाने में मदद कर सकता है (9)। इसलिए, सूखी खुजली का इलाज करने के लिए एलोवेरा काम आ सकता है।

5. सेब का सिरका

सामग्री :

  • एक कप सेब का सिरका
  • नहाने योग्य गर्म पानी

उपयोग करने का तरीका :

  • नहाने के पानी में एक कप सेब का सिरका मिलाएं।
  • खुजली के लिए घरेलू उपचार करने के लिए लगभग 15 मिनट तक इसमें शरीर को डुबोकर रखें।
  • बाद में साफ पानी से नहा लें।

कैसे है लाभदायक :  

जैसा कि हम ऊपर बता चुके हैं कि खुजली की समस्या विभिन्न कारणों से हो सकती है। इसमें वैरिकोसिटी (Varicosity) भी शामिल है, जिसमें नसें सूज और ट्विस्ट हो जाती हैं। दरअसल, वैरिकोसिटी के लक्षणों में खुजली को भी शामिल किया गया है (10)। वहीं, एक शोध में वैरिकोसिटी के लिए सेब के सिरका के उपयोग का जिक्र मिलता है (11)। ऐसे में हम मान सकते हैं कि वैरिकोसिटी की वजह से होने वाली खुजली में सेब का सिरका आराम पहुंचा सकता है।

6. नीम

सामग्री :

  • 10-15 नीम के पत्ते
  • पानी (आवश्यकतानुसार)

उपयोग करने का तरीका :

  • नीम की पत्तियों को पानी के साथ पीसकर पेस्ट बना लें।
  • इस पेस्ट को खुजली वाली जगह पर लगाएं और कुछ घंटों के लिए छोड़ दें।
  • पानी में नीम की पत्तियों को उबालकर नहा भी सकते हैं।

कैसे है लाभदायक :

नीम की पत्तियों को सदियों से त्वचा समस्याओं के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है। इस संबंध में प्रकाशित एक मेडिकल रिसर्च में दिया हुआ है कि नीम खुजली से राहत दिलाकर दर्द को बढ़ने से रोकने का काम कर सकता है। वहीं, नीम में एंटीबैक्टीरियल और एंटीफंगल गुण भी पाए जाते हैं, जो त्वचा को बैक्टीरियल और फंगल संक्रमण और इनकी वजह से होने वाली खुजली से आराम दिलवा सकते हैं (12)। ऐसे में, हम मान सकते हैं कि पूरे बॉडी में खुजली का इलाज नीम से किया जा सकता है।

7. ओटमील बाथ

सामग्री :

  • दो कप ओट्स
  • चार कप पानी
  • एक साफ सूती कपड़ा
  • नहाने योग्य गर्म पानी

उपयोग करने का तरीका :

  • ओटमील को ग्राइंड कर चार कप पानी में कुछ मिनट के लिए भिगो दें।
  • अब ओटमील को एक सूती कपड़े में रखें और इसे कस लें।
  • बाथटब में नहाने योग्य गर्म पानी भर लें और खुजली के लिए घरेलू उपाय करने के लिए कपड़े में बंधे हुए ओटमील को पांच-दस मिनट के लिए पानी में डाल दें।
  • अब लगभग 15 से 20 मिनट के लिए इस पानी में स्नान करें।

कैसे है लाभदायक :

पूरे बॉडी में खुजली का इलाज करने के लिए ओटमील बाथ का सहारा लिया जा सकता है। पुराने समय से इसका उपयोग जेरोटिक डर्माटोज (एक तरह का डर्मेटाइटिस) से जुड़ी खुजली और असहजता से आराम पाने के लिए किया जा रहा है। माना जाता है कि इसमें मौजूद सेपोनिंस (एक प्रकार केमिकल कंपाउंड) त्वचा को साफ रखने में मदद कर सकता है। इसके अलावा, ओटमील त्वचा को मॉइस्चराइज करने के साथ-साथ त्वचा पर सूदिंग प्रभाव भी डाल सकता है (13)। इस तरह ओटमील का उपयोग खुजली के घरेलू नुस्खे के रूप में किया जा सकता है।

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8. नारियल का तेल

सामग्री :

  • नारियल का तेल (आवश्यकतानुसार)

उपयोग करने का तरीका :

  • गुनगुने पानी से स्नान कर लें और शरीर को अच्छी तरह सूखा लें।
  • अब आवश्यकतानुसार नारियल का तेल लें और प्रभावित जगह पर लगाएं।
  • पूरे बॉडी में खुजली का इलाज करने के लिए पूरे शरीर पर तेल से मालिश कर सकते हैं।

कैसे है लाभदायक :

नारियल तेल का उपयोग खुजली होने पर घरेलू उपाय के रूप में किया जा सकता है। माना जाता है कि इसका उपयोग एटॉपिक डर्मेटाइटिस और ड्राई स्किन से प्रभावित त्वचा में आराम दिलाने में मदद कर सकता है (14)। वहींं, हम ऊपर बता चुके हैं कि एटॉपिक डर्मेटाइटिस और सूखी त्वचा की वजह से खुजली की समस्या हो सकती है।

9. पुदीना

सामग्री :

  • दो-तीन बूंद पेपरमिंट ऑयल
  • आधा कप पानी

उपयोग करने का तरीका

  • खुजली के घरेलू नुस्खे के लिए आधे कप पानी में दो-तीन बूंद पेपरमिंट ऑयल डालें।
  • अब इसमें कॉटन बॉल को भिगोकर खुजली से प्रभावित त्वचा पर लगाएं।

कैसे है लाभदायक :

पेपरमिंट ऑयल एक प्रकार के हाइब्रिड पुदीने से बना एसेंशियल ऑयल होता है। पेपरमिंट ऑयल का उपयोग घर में खुजली का उपाय करने के लिए एक प्रभावी, सुरक्षित और सस्ते नुस्खे की तरह किया जा सकता है। हालांकि, इसकी कार्यप्रणाली के बारे में शोध में साफ तौर पर नहीं बताया गया है। इसलिए, इस पर और शोध की आवश्यकता है (15)।

10. मेथी के बीज

सामग्री :

  • एक-दो कप मेथी के बीज

उपयोग करने का तरीका :

  • मेथी के बीजों को एक घंटे के लिए पानी में भिगो दें।
  • भीगे हुए मेथी के दानों को थोड़े से पानी के साथ पीसकर गाढ़ा पेस्ट बनाएं।
  • अब खुजली का घरेलू इलाज करने के लिए पेस्ट को खुजली से प्रभावित क्षेत्र पर लगाएं।
  • पेस्ट सूखने पर त्वचा को पानी से धो लें।

कैसे है लाभदायक :

त्वचा से जुड़े विकारों से आराम पाने के लिए मेथी के बीज का उपयोग किया जा सकता है। माना जाता है कि मेथी के बीज के मेथेनॉलिक अर्क में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण पाए जाते हैं, जो इंफ्लेमेटरी रोग जैसे एक्जिमा के कारण होने वाली सूजन को कम करने में सहायक हो सकते हैं

इस आधार पर कहा जा सकता है कि मेथी के बीज का उपयोग खुजली होने के कारण जैसे एक्जिमा से आराम दिलाने का काम कर सकता है (16)। ऐसे में खुजली का घरेलू उपाय के तौर पर मेथी के बीज का इस्तेमाल किया जा सकता है।

11. शहद

सामग्री :

  • शहद (आवश्यकतानुसार)

उपयोग करने का तरीका :

  • खुजली के लिए घरेलू उपचार करने के लिए खुजली व चकत्तों वाले क्षेत्र पर शहद लगाएं।
  • कम से कम 20 मिनट तक शहद को लगा रहने दें।
  • 20 मिनट बाद साफ पानी से त्वचा पर लगे शहद को धीरे से पोंछ लें।

कैसे है लाभदायक :

खुजली होने के कारण बहुत सारे हो सकते हैं, जिनमें से कुछ आम है, त्वचा से जुड़े विकार जैसे सोरायसिस और एक्जिमा। इनके कारण असहनीय खुजली हो सकती है और इस तरह की खुजली होने पर घरेलू उपाय के रूप में शहद का उपयोग किया जा सकता है। माना जाता है कि शहद के एंटीमाइक्रोबियल और एंटीइन्फ्लामेट्री गुण त्वचा के लिए लाभदायक हो सकते हैं।

शहद में मौजूद एंटीइन्फ्लामेट्री गुण इन त्वचा समस्याओं से जुड़ी सूजन को कम करने में मदद कर सकता है। वहीं, एंटीमाइक्रोबियल गुण इन्हें बैक्टीरियल प्रभाव से बचाने में मदद कर सकते हैं। इसलिए, माना जा सकता है शहद इन त्वचा समस्याओं से कुछ हद तक आराम दिलाकर, इनसे होने वाली खुजली को कम कर सकता है (17)।

12. लहसुन

सामग्री :

  • लहसुन की दो-तीन कलियां
  • आधा कप जैतून का तेल

उपयोग करने का तरीका :

  • लहसुन की कलियों को छोटा-छोटा काट लें और जैतून के तेल के साथ गर्म कर लें।
  • गर्म करने के बाद तेल को रातभर के लिए इसी तरह छोड़ दें।
  • अगली सुबह, इस तेल को खुजली का घरेलू इलाज करने के लिए प्रभावित क्षेत्र पर लगाएं।
  • 20 से 30 मिनट तक तेल त्वचा पर लगा रहने दें और बाद में साफ कपड़े से पोंछ लें।

कैसे है लाभदायक :

दानेदार खुजली के उपाय करने के लिए लहसुन का उपयोग कर सकते हैं (18)।  जैसा कि हम बता चुके हैं कि त्वचा पर खुजली की समस्या एलर्जी के कारण भी हो सकती है। वहीं, एक मेडिकल शोध में पाया गया है कि लहसुन में एंटी एलर्जिक और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण मौजूद होते हैं (19)। ये गुण त्वचा से जुड़ी एलर्जी और सूजन को कम कर खुजली से बचाव में मददगार हो सकते हैं। इस प्रकार लहसुन का उपयोग खुजली का इलाज करने के लिए किया जा सकता है।

13. एसेंशियल ऑयल

सामग्री :

  • कुछ बूंद पेपरमिंट एसेंशियल ऑयल
  • या कुछ बूंद टी ट्री ऑयल
  • एक चम्मच कैरियर ऑयल (नारियल/जैतून)

उपयोग करने का तरीका :

  • अपनी पसंद के एसेंशियल ऑयल को कैरियर तेल के साथ मिलाएं।
  • अब इस मिश्रण को सीधे खुजली वाली त्वचा पर लगाएं और इसे सूखने दें।

कैसे है लाभदायक

खुजली का घरेलू उपाय करने के लिए एसेंशियल ऑयल का उपयोग भी किया जा सकता है। दरअसल, पेपरमिंट एसेंशियल ऑयल में मेन्थॉल नामक घटक होता है, जो खुजली को कम कर सकता है (20)। वहीं, टी ट्री ऑयल भी खुजली को ठीक करने का काम कर सकता है। साथ ही एक्जिमा और रूखी त्वचा की समस्या को भी दूर करने में मदद कर सकता है (21)। ध्यान रखें कि एसेंशियल ऑयल को सीधे त्वचा पर न लगाएं। इनका उपयोग किसी कैरियर ऑयल (नारियल/जैतून) में मिलाकर ही करें।

14. विटामिन

सामग्री :

  • विटामिन-ए, सी और ई सप्लीमेंट

उपयोग करने का तरीका :

  • ऊपर बताए गए किसी भी विटामिन सप्लीमेंट का एक कैप्सूल प्रतिदिन डॉक्टर की सलाह पर ले सकते हैं।
  • इसके अलावा, विटामिन-ए, सी और ई से भरपूर खाद्य पदार्थों का भी सेवन कर सकते हैं।

कैसे है लाभदायक :

ऊपर बताए गए उपाय के अलावा, खुजली से बचे रहने के लिए विटामिन से भरपूर खाद्य पदार्थों का भी सेवन भी किया जा सकता है। विटामिन-ए, सी और ई त्वचा को संक्रमण से होने वाली खुजली से बचाए रखने में मदद कर सकते हैं। विटामिन-ए त्वचा कोशिकाओं को स्वस्थ और पोषित रखने का काम कर सकता है (22)।

वहीं, विटामिन-सी और ई में एंटी-फोटोएजिंग प्रभाव पाए जाते हैं, जो सूरज की यूवी किरणों के कारण होने वाले एजिंग के प्रभाव को कम करने का काम कर सकते हैं। इससे एजिंग की वजह से होने वाली खुजली की समस्या से बचाव हो सकता है (23)। खट्टे फल, हरी सब्जियां, अंडे, दूध आदि विटामिन से भरपूर होते हैं, जिनका सेवन किया जा सकता है (24) (25)।

15. तिल का तेल

सामग्री :

  • तिल का तेल (आवश्यकतानुसार)

उपयोग करने का तरीका :

  • त्वचा को अच्छी तरह धोकर प्रभावित हिस्से पर तिल का तेल लगाएं।
  • तेल लगाकर हल्के हाथों से मालिश करें।
  • इसे एक दिन के अंतराल में लगा सकते हैं।

कैसे है लाभदायक :

पूरे बॉडी में खुजली का इलाज करने के लिए तिल के तेल का उपयोग किया जा सकता है। इस संबंध में किए गए एक वैज्ञानिक अध्ययन में इस बात का जिक्र है कि तिल के तेल का इस्तेमाल कई स्किन कंडिशनिंग और मॉइस्चराइजर उत्पाद में किया जाता है (26)। इससे त्वचा में नमी को बनाए रखने में मदद मिल सकती है और रूखी त्वचा के कारण होने वाले खुजली की समस्या से बचा जा सकता है। हालांकि, इस तेल का त्वचा पर सीधा इस्तेमाल कितना कारगर होगा, इसे लेकर अभी और शोध किए  जाने की आवश्यकता है।

16. बादाम का तेल

सामग्री

  • बादाम का तेल (आवश्यकतानुसार)

उपयोग करने का तरीका :

  • आवश्यकतानुसार बादाम का तेल लें और इसे खुजली से प्रभावित क्षेत्र पर लगाएं।
  • इस लगाकर कुछ मिनट के लिए त्वचा पर मालिश करें।
  • इसे रोजाना एक बार लगा सकते हैं।

कैसे है लाभदायक :

खुजली के लिए घरेलू उपाय के तौर पर बादाम के तेल का इस्तेमाल किया जा सकता है। एनसीबीआई की वेबसाइट पर पब्लिश एक मेडिकल रिसर्च की मानें, तो बादाम का तेल स्ट्रेच मार्क की खुजली को कम करने का काम कर सकता है। वहीं, इस शोध में बादाम के तेल के एमोलिएंट प्रभाव के बारे में पता चलता है, जो खुजली से प्रभावित त्वचा को आराम पहुंचाने में मदद कर सकता है (27)।

17. जैतून का तेल

सामग्री :

  • एक चमच जैतून का तेल
  • आधा चम्मच शहद
  • बी वैक्स (पिघला हुआ) की कुछ मात्रा

उपयोग करने का तरीका

  • इन तीनों सामग्रियों को अच्छी तरह मिलाकर सीधे प्रभावित क्षेत्रों पर लगाएं।
  • इसे लगाने के बाद थोड़ी देर हल्की मालिश करें।
  • इस उपाय को दिन में एक बार अपना सकते हैं।

कैसे है लाभदायक :

खुजली से छुटकारा पाने के घरेलू उपाय में जैतून के तेल को भी शामिल किया जा सकता है। दरअसल, जैतून का तेल, शहद और बी वैक्स का मिश्रण सोरायसिस (खुजली के साथ सूखी पपड़ी वाली त्वचा समस्या) में आराम दिलाने में मदद कर सकता है (28)।

वहीं, एक वैज्ञानिक रिसर्च से पता चलता है कि जैतून के तेल का इस्तेमाल मॉइस्चराइजिंग एजेंट के रूप में किया जा सकता है। इससे ड्राई स्किन और इसकी वजह से होने वाली खुजली में आराम मिल सकता है (29)। ऐसे में माना जा सकता है कि दानेदार खुजली के उपाय के तौर पर जैतून का तेल का इस्तेमाल किया जा सकता है। हालांकि, यह कितना लाभकारी होगा, इसपर अभी और शोध की आवश्यकता है।

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लेख के अगले भाग में खुजली के जोखिम कारक बताए जा रहे हैं।

खुजली के जोखिम कारक – Risk Factors of Itching in Hindi

खुजली के कारणों को ही खुजली का जोखिम कारक समझा जा सकता है, क्योंकि इनकी वजह से खुजली की समस्या उत्पन्न हो सकती है। उदाहरण के तौर पर अगर किसी की त्वचा रूखी है, तो उसे खुजली होने की आशंका ज्यादा होती है। वहीं, अगर कोई त्वचा से जुड़ी किसी बीमारी या संक्रमण से ग्रसित है, तो उस व्यक्ति को भी खुजली होने की आशंका बढ़ जाती है।

नीचे भी पढ़ें

आगे जानिए, खुजली का इलाज किस तरह किया जा सकता है।

खुजली का इलाज – Treatment For Itching in Hindi

अधिकांश खुजली की समस्या गंभीर नहीं होती है और अपने आप ठीक हो सकती है। वहीं, सामान्य खुजली की समस्या के लिए डॉक्टर निम्नलिखित उपाय का सुझाव दे सकते हैं  (30) :

  • खुजली की समस्या के इलाज के लिए कोल्ड कंप्रेस की सलाह दी जा सकती है।
  • डॉक्टर मॉइस्चराइजिंग लोशन लगाने को बोल सकते हैं।
  • खुजली के इलाज के लिए डॉक्टर खुजली से आराम दिलाने वाली किसी ओवर-द-काउंटर क्रीम का सुझाव दे सकते हैं।
  • साथ ही खुजली से प्रभावित त्वचा को न खरोंचने और आरामदायक कपड़े पहनने की सलाह दे सकते हैं।

वहीं, खुजली होने के पीछे कई अन्य गंभीर कारण भी जिम्मेदार हो सकते हैं। इसमें एनीमिया, लिवर से जुड़ी समस्या, किडनी से जुड़ी समस्या व सोरायसिस आदि शामिल हैं (1)। इसके लिए डॉक्टर खुजली के कारण के आधार पर इलाज की ओर कदम बढ़ाएंगे। जैसे एनीमिया के लिए आयरन सप्लीमेंट या आयरन से समृद्ध खाद्य पदार्थों के सेवन की सलाह दी जा सकती है। वहीं, लिवर या किडनी से जुड़ी समस्या के लिए सही निदान के साथ जरूरी इलाज किया जा सकता है।

वहीं, सोरायसिस जैसी त्वचा समस्या के लिए एंटी-इंफ्लेमेटरी क्रीम या ऑइंटमेंट दिया जा सकता है या विटामिन-डी/ विटामिन-ए युक्त दवा दी जा सकती है (31)।

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अब हम खुजली की समस्या में आहार संबंधी जानकारी दे रहे हैं।

खुजली के लिए आहार – Diet For Itching in Hindi

खुजली के लिए आहार इसपर निर्भर करता है कि खुजली किस कारण हो रही है। कई बार शरीर में खुजली होने का कारण किसी खाद्य पदार्थ जैसे फल, सब्जी या नट से एलर्जी भी हो सकती है। इन मामलों में एलर्जी वाले खाद्य पदार्थों से बचना जरूरी है। इस वजह से खुजली के लिए आहार के बारे में डॉक्टर से परामर्श करने की सलाह दी जाती है। नीचे कुछ आम खाद्य पदार्थों के बारे में बताया जा रहा है, जो फूड एलर्जी का कारण बन सकते हैं (32) :

  • शेलफिश, जैसे कि झींगा, लॉबस्टर और केकड़ा
  • मूंगफली
  • ट्री नट्स जैसे कि अखरोट और काजू
  • मछली जैसे सैल्मन
  • दूध
  • अंडा
  • गेहूं
  • सोयाबीन

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आगे जानिए खुजली से बचाव के उपाय।

खुजली से बचाव के उपाय – Prevention Tips For Itching in Hindi

अगर कोई यह सोच रहे हैं कि खुजली को कैसे दूर रखें तो उसके लिए नीचे दिए गए बचाव उपायों को अपनाया जा सकता है (33) (1) :

  • रोज साफ पानी से नहाएं।
  • हल्के मटेरियल जैसे सूती कपड़े पहनें।
  • गर्म पानी से नहाने से बचें।
  • त्वचा को मॉइस्चराइज रखें।
  • ज्यादा केमिकल वाले साबुन का उपयोग न करें।
  • माइल्ड साबुन का उपयोग करें, जो त्वचा को रूखा न करे।
  • सूखे और साफ कपड़े पहनें।

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अंत में जानिए खुजली के लिए डॉक्टर से कब संपर्क करें।

कब लेनी चाहिए डॉक्टर की सलाह?

खुजली के कुछ मामलों में डॉक्टर की मदद लेना जरूरी हो जाता है, इन मामलों के बारे में नीचे बता रहे हैं (1) :

  • खुजली गंभीर रूप ले ले।
  • आसानी से आराम न मिले।
  • कारण समझ न आए।
  • पूरे शरीर में खुजली होना।
  • शरीर पर बार-बार पित्ती की समस्या हो।

दोस्तों, खुजली एक आम समस्या है, जो किसी की भी त्वचा को निशाना बना सकती है। शरीर की सही देखभाल और नियमित सफाई की मदद से इससे बचा जा सकता है। वहीं, खुजली होने पर घरेलू उपाय को अपना कर इससे कुछ हद तक आराम पाया जा सकता है, लेकिन अगर उनसे आराम न मिले, तो खुजली का इलाज करना जरूरी है। हम आशा करते हैं कि अब आप समझ गए होंगे कि खुजली कैसे दूर करें। ऐसी ही कई अन्य शारीरिक समस्याओं के घरेलू उपचार जानने के लिए पढ़ते रहे स्टाइलक्रेज।

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल :

क्या ऊपर बताए गए घरेलू उपायों से दाने वाली खुजली का उपचार हो सकता है?

जैसा कि हम बता चुके हैं कि खुजली कई कारणों से हो सकती है। ऐसे में उस कारण को जानकर उसके अनुसार उपाय अपनाना फायदेमंद होगा। वहीं, दाने वाली खुजली की स्थिति में अच्छा होगा कि घरेलू उपाय की जगह डॉक्टरी उपचार करवाया जाए।

क्या घरेलू नुस्खे सूखी खुजली का इलाज कर सकते हैं?

सूखी खुजली अक्सर त्वचा में नमी की कमी के कारण हो सकती है। ऐसे में, उन नुस्खों को अपनाया जा सकता है, जो त्वचा को नम बनाए रखने में मदद कर सकते हैं, जैसे शहद और एलोवेरा।

खुजली को पूरी तरह से कम होने में कितना समय लग सकता है?

यह व्यक्ति, खुजली के कारण और खुजली की गंभीरता पर निर्भर करता है।

खुजली की समस्या को जल्दी से कैसे रोक सकते हैं?

खुजली को जल्दी रोकने के लिए डॉक्टरी इलाज का सहारा ले सकते हैं। साथ ही डॉक्टरी सलाह पर ऊपर बताए गए घरेलू नुस्खे को भी अपना सकते हैं।

रातों-रात खुजली को कैसे ठीक कर सकते हैं?

किसी भी समस्या को रातों-रात ठीक नहीं किया जा सकता है। हालांकि, बेहतर उपचार की मदद से कुछ दिनों में खुजली की समस्या को ठीक किया जा सकता है।

क्या पानी से एलर्जी होना संभव है?

जी हां, पानी में मौजूद एलर्जेन की वजह से पानी से एलर्जी की समस्या हो सकती है। फिलहाल, इस विषय में अभी और शोध किए जाने की आवश्यकता है।

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References

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Dr. Zeel Gandhi is an Ayurvedic doctor with 7 years of experience and an expert at providing holistic solutions for health problems encompassing Internal medicine, Panchakarma, Yoga, Ayurvedic Nutrition, and formulations.

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Saral Jain
Saral Jainहेल्थ एंड वेलनेस राइटर
सरल जैन ने श्री रामानन्दाचार्य संस्कृत विश्वविद्यालय, राजस्थान से संस्कृत और जैन दर्शन में बीए और डॉ.

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