Written by , (शिक्षा- एमए इन जर्नलिज्म मीडिया कम्युनिकेशन)

किसी पार्टी, उत्सव या समारोह में पनीर मौजूद न हो, ऐसा तो हो ही नहीं सकता। यह न सिर्फ खाने में स्वादिष्ट होता है, बल्कि स्वास्थ्य के लिए पनीर के फायदे भी कई सारे हैं। अगर यकीन नहीं होता है, तो स्टाइलक्रेज के इस लेख को पढ़ने के बाद जरूर समझ जाएंगे कि सेहत के लिए पनीर के फायदे क्या-क्या हो सकते हैं। यहां हम पनीर के फायदे के साथ-साथ अधिक उपयोग से पनीर के नुकसान क्या हो सकते हैं, यह जानकारी देने की भी कोशिश करेंगे। इतना ही नहीं हम घर में पनीर बनाने का तरीका भी पाठकों के साथ साझा करेंगे। इसलिए, बिना देर करते हुए पनीर खाने के फायदे और नुकसान से जुड़ी हर जानकारी के लिए लेख पढ़ना शुरू करें।

सबसे पहले यह जान लेते हैं कि पनीर क्या है।

पनीर क्या है? – What is cottage cheese in Hindi

यह भारत में लोकप्रिय डेयरी उत्पाद में से एक है। इसे कई तरह के दूध से तैयार किया जाता है, जैसे – गाय का दूध, भैंस का दूध, सोया दूध और बकरी का दूध। पनीर को पोषक तत्वों का खजाना माना जाता है, इसमें प्रोटीन, कैल्शियम, फास्फोरस, विटामिन-ए व डी होता है (1)। इसे अंग्रेजी में कॉटेज चीज़ या सॉफ्ट चीज़ भी कहते हैं। आगे हम पनीर के पोषक तत्वों और सेहत के लिए पनीर के फायदे के बारे में विस्तार से जानकारी देने की कोशिश करेंगे।

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पनीर इन हिंदी में जानते हैं पनीर के फायदे के बारे में।

पनीर के फायदे – Health Benefits of Paneer in Hindi

पनीर के फायदे एवं गुण की बात करें तो यह पोषक तत्वों का भंडार माना जाता है। पनीर सामान्य से लेकर गंभीर शारीरिक समस्याओं में लाभकारी हो सकता है। हालांकि, हम यह स्पष्ट कर दें कि पनीर किसी बीमारी का संपूर्ण इलाज नहीं है, यह सिर्फ समस्याओं से बचाव और उनके प्रभाव को कुछ हद तक कम करने में उपयोगी हो सकता है :

1. प्रोटीन के लिए पनीर

शरीर के लिए प्रोटीन जरूरी पोषक तत्व माना जाता है। प्रोटीन शरीर को न सिर्फ ऊर्जा देता है, बल्कि मांसपेशियों के लिए भी महत्वपूर्ण होता है। साथ ही प्रोटीन वजन को संतुलित रखने में भी सहायक हो सकता है (2)। ऐसे में प्रोटीन युक्त आहार की बात करें, तो कॉटेज चीज़ यानी पनीर अच्छा विकल्प हो सकता है। पनीर प्रोटीन का अच्छा स्त्रोत है। ऐसे में प्रोटीन की आपूर्ति के लिए बच्चे, व्यस्क और बुजुर्ग पनीर का सेवन कर सकते हैं (1)।

2. ब्लड प्रेशर नियंत्रित करने के लिए पनीर

कॉटेज चीज इन हिंदी के इस लेख में पनीर के फायदे ब्लड प्रेशर नियंत्रित करने में भी देखे जा सकते हैं। हाई ब्लड प्रेशर की समस्या आजकल सामान्य हो चुकी है। ऐसे में ब्लड प्रेशर के मरीजों को डाइट का खास ध्यान रखना जरूरी है। अगर हाई बीपी डाइट की बात करें, तो इसमें पनीर को शामिल करना अच्छा विकल्प हो सकता है। पनीर हाई बीपी को कम करने में प्रभावकारी हो सकता है (3)। इस विषय में मौजूद जानकारी के अनुसार, लो फैट और कैल्शियम युक्त डेयरी प्रोडक्ट ब्लड प्रेशर की समस्या में उपयोगी हो सकता है (4)।

इसके अलावा, फर्मेन्टेड दूध उत्पाद भी ब्लड प्रेशर कम करने में उपयोगी हो सकता है (5)। वहीं, पनीर भी फर्मेन्टेड दूध उत्पाद में से एक है (6)। हालांकि, इस विषय में अभी और शोध की आवश्यकता है, इसलिए बेहतर है इसके सेवन से पहले एक बार डॉक्टरी सलाह भी ली जाए। ध्यान रहे कि बीपी के मरीज पनीर के सेवन के साथ-साथ अपनी दवाइयों का भी नियमित सेवन करते रहें।

3. दांत और हड्डियों की मजबूती के लिए पनीर

बढ़ती उम्र के साथ दांत और हड्डियों का ध्यान रखना भी जरूरी होता है, क्योंकि उम्र बढ़ने के साथ-साथ ये कमजोर होने लगते हैं। ऐसे में दांत व हड्डियों को स्वस्थ रखने के लिए कैल्शियम जरूरी पोषक तत्वों में से एक है (7)।

हम डाइट में कैल्शियम को तरह-तरह के खाद्य पदार्थों के जरिए शामिल कर सकते हैं। इन खाद्य पदार्थों में सबसे पहला नाम डेयरी प्रोडक्ट का आता है (8)। इन डेयरी प्रोडक्ट्स में पनीर भी शामिल है (1)। पनीर को कैल्शियम का अच्छा स्त्रोत माना गया है, ऐसे में पनीर को डाइट में शामिल कर दांत और हड्डियों को स्वस्थ रखा जा सकता है। पनीर बच्चों में दांतों के सड़न के जोखिम को भी कम कर सकता है (3)।

4. पाचन तंत्र के लिए पनीर

पनीर पाचन तंत्र के लिए लाभकारी भी हो सकता है। पाचन को ठीक करने के लिए कई बार प्रोबायोटिक की जरूरत पड़ती है। प्रोबायोटिक्स सूक्ष्मजीव होते हैं, जिनका सेवन फर्मेंटेड खाद्य पदार्थों या सप्लीमेंट्स के जरिए किया जा सकता है।

इन्हीं प्रोबायोटिक्स में लैक्टोबैसिलस नाम का एक बैक्टीरिया होता है, जिसे स्वास्थ्य के लिए अच्छे बैक्टीरिया की श्रेणी में रखा गया है। यह बैक्टीरिया पेट और पाचन के लिए लाभकारी हो सकता है (9)। यह बैक्टीरिया पनीर में भी पाया जाता है (10)। ऐसे में पाचन में सुधार करने के लिए पनीर को डाइट में शामिल करना अच्छा विकल्प हो सकता है (3)।

ध्यान रहे कि अगर किसी व्यक्ति को लैक्टोज इंटोलेरेंस यानी लैक्टोज से एलर्जी है, तो वो पनीर के सेवन से पहले डॉक्टरी सलाह लें। बता दें लैक्टोज दूध में मौजूद शुगर होता है, जिससे कई लोगों को एलर्जी की समस्या हो सकती है (11)। जिनको दूध युक्त प्रोडक्ट से एलर्जी है वो सोया दूध से बना टोफू खा सकते हैं। ये भी पनीर की तरह ही होता है बस यह सोया दूध से बनता है (12)।

5. डायबिटीज में सहायक

डायबिटीज की समस्या से परेशान रहने वाले लोगों में डाइट को लेकर काफी उलझन रहती है। ऐसे में डायबिटीज के मरीज डाइट में पनीर को बेझिझक शामिल कर सकते हैं। हालांकि, कई बार डॉक्टर भी मधुमेह मरीजों को पनीर खाने की सलाह देते हैं (1)। वहीं, एनसीबीआई द्वारा प्रकाशित शोध की मानें तो बच्चों के डाइट में डेयरी प्रोडक्ट को शामिल करने से मोटापे का जोखिम कम हो सकता है, जिससे डायबिटीज जैसी बीमारियों का भी खतरा कुछ हद तक कम हो सकता है (13)। ऐसे में डायबिटीज के जोखिम को कम करने के लिए पनीर को अच्छा हेल्दी विकल्प माना जा सकता है।

6. मांसपेशियों के लिए पनीर

पनीर इन हिंदी के इस लेख में, अब बात करते हैं मांसपेशियों से जुड़े लाभ के बारे में। पनीर में वसा, कैल्शियम, प्रोटीन और अन्य विटामिन और खनिज होते हैं (14)। वहीं शरीर के लिए प्रोटीन जरूरी पोषक तत्व माना जाता है। प्रोटीन शरीर को न सिर्फ ऊर्जा देता है, बल्कि मांसपेशियों के लिए भी महत्वपूर्ण होता है (2)। वहीं, पनीर को प्रोटीन का अच्छा स्रोत माना जाता है (1)। ऐसे में कहा जा सकता है कि प्रोटीन की आपूर्ति के लिए डाइट में पनीर को शामिल मांसपेशियों को स्वस्थ बनाया जा सकता है।

7. एंटीऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर है पनीर

कच्चे पनीर में एंटीऑक्सीडेंट गुण मौजूद होता है जो कि शरीर के लिए बेहद लाभकारी हो सकता है (3)। बता दें कि एंटीऑक्सीडेंट युक्त आहार का सेवन शरीर को फ्री रेडिकल्स के कारण शरीर की कोशिकाओं की क्षति से बचाव करने में सहायक हो सकता है।

दरअसल, फ्री रेडिकल्स ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस का कारण बनते हैं, जिस वजह से हृदय रोग, कैंसर, मधुमेह और अन्य गंभीर बीमारियों का जोखिम हो सकता है। वहीं, एंटीऑक्सीडेंट युक्त खाद्य पदार्थ शरीर को फ्री रेडिकल्स से होने वाले नुकसान से बचाव कर सकते हैं (15)। ऐसे में यह कहा जा सकता है कि एंटीऑक्सीडेंट गुणों से युक्त पनीर स्वास्थ्य के लिए उपयोगी हो सकता है।

8. विटामिन के व विटामिन डी का अच्छा स्त्रोत

पनीर विटामिन-डी और विटामिन-के का अच्छा स्त्रोत है (1) (16)। ये दोनों ही विटामिन हड्डियों के लिए लाभकारी पोषक तत्वों में से एक हैं। विटामिन-डी शरीर में कैल्शियम के अवशोषण में सहायता करता है (17)। वहीं, विटामिन-के शरीर में प्रोटीन बनाने में सहायक हो सकता है, जिससे हड्डियां और मांसपेशियां स्वस्थ रह सकें (18)।

9. वजन कम करने के लिए पनीर

पनीर के फायदे के इस लेख में अब बात करते हैं वजन कम करने के लिए पनीर के फायदे की। पनीर वजन कम करने में सहायक हो सकता है। दरअसल, पनीर प्रोटीन का एक अच्छा स्त्रोत है (1)। प्रोटीन वजन नियंत्रण में मदद कर सकता है, क्योंकि प्रोटीन युक्त आहार के सेवन के बाद काफी देर तक व्यक्ति को पेट भरा हुआ महसूस हो सकता है, जिस कारण बार-बार भूख नहीं लगती (2)। ऐसे में माना जा सकता है कि वजन कम करने के लिए लो फैट या फैट फ्री पनीर को डाइट में शामिल करना अच्छा विकल्प हो सकता है (19)।

10. डिप्रेशन से बचाव के लिए पनीर

अगर तनाव को कम करना हो, तो स्वस्थ खाना मददगार साबित हो सकता है। एक संतुलित आहार अवसाद की परेशानी से कुछ हद तक बचाव कर सकता है (20)। ऐसे में पनीर को डाइट में शामिल करना अच्छा विकल्प हो सकता है। दरअसल, पनीर में ट्राइटोफैन नामक प्रोटीन पाया जाता है, जो सेरोटोनिन नामक केमिकल में बदल जाता है। यह व्यक्ति के मूड में बदलाव के लिए जरूरी केमिकल होता है, जो खाद्य पदार्थों से ही प्राप्त हो सकता है। ऐसे में मूड को बेहतर करने के लिए पनीर का सेवन ओट्स के साथ किया जा सकता है (21)।

11. ऑस्टियोपोरोसिस के जोखिम को कम करे

पनीर का सेवन हड्डियों के लिए भी लाभकारी हो सकता है। दरअसल, कैल्शियम की कमी से ऑस्टियोपोरोसिस नामक हड्डी के रोग का जोखिम बढ़ सकता है (22)। ऐसे में इसके जोखिम को कम करने के लिए कैल्शियम युक्त पनीर का सेवन उपयोगी हो सकता है (14)। हालांकि, सीधे तौर पर अभी इससे जुड़े शोध की आवश्यकता है, लेकिन मान सकते हैं कि पनीर में मौजूद कैल्शियम हड्डियों को स्वस्थ रखने में सहायक हो सकता है। बता दें, ऑस्टियोपोरोसिस की समस्या में हड्डियां पतली व कमजोर होने लगती है (23)। साथ ही हड्डियों के टूटने का जोखिम भी बढ़ जाता है (24)।

वहीं, गठिया के मामले में दूध या दूध युक्त खाद्य पदार्थों को लेकर थोड़ी उलझन भी है। इन्हें ऐसे खाद्य पदार्थों की श्रेणी में रखा गया है, जो सूजन का कारण बन सकते हैं (25)। ऐसे में गठिया की परेशानी में पनीर के सेवन से पहले डॉक्टरी सलाह जरूर लें।

12. रोग-प्रतिरोधक क्षमता में सहायक

प्रोटीन न सिर्फ मांसपेशियों के लिए लाभकारी है, बल्कि इम्यूनिटी के लिए भी जरूरी है। शोध की मानें तो कम वसा वाले दूध व दूध से बने उत्पाद इम्यूनिटी बूस्ट करने में सहायक हो सकते हैं (26)। ऐसे में माना जा सकता है कि पनीर का सेवन इम्यूनिटी के लिए प्रभावकारी हो सकता है।

दरअसल, इससे जुड़ी जानकारी में इस बात का जिक्र मिलता है कि पनीर इम्यून पावर को बेहतर कर सकता है (3)। तो जिन लोगों की इम्यूनिटी कम है, वो रोग प्रतिरोधक क्षमता में सुधार लाने के लिए डाइट में पनीर शामिल कर सकते हैं। अगर दूध से बने खाद्य पदार्थों से एलर्जी है तो सेवन से पहले डॉक्टर से जरूर सलाह लें।

13. गर्भवती महिलाओं के लिए लाभदायक

गर्भावस्था के दौरान प्रोटीन व आयरन जैसे पोषक तत्व जरूरी होते हैं (27)। ऐसे में पोषक तत्वों से भरपूर पनीर गर्भवती के लिए लाभकारी हो सकता है (1)। तो गर्भवती आधे से एक कप तक पनीर डाइट में शामिल कर सकती हैं (28)। हालांकि, इसकी मात्रा गर्भवती की शारीरिक स्थिति के अनुसार अलग-अलग हो सकती है। इस बात का ध्यान रहे कि गर्भवती जिस पनीर का सेवन कर रही हों वो पॉश्चरीकृत दूध से बना हो, क्योंकि अनपॉश्चरीकृत दूध से बने पनीर में हानिकारक बैक्टीरिया होते हैं, जो गर्भवती महिलाओं में गर्भपात का कारण बन सकते हैं (29)।

14. हृदय स्वास्थ के लिए पनीर

हृदय को स्वस्थ रखने के लिए भी पनीर उपयोगी हो सकता है। पनीर पोषक तत्वों से भरपूर होता है। शायद यही वजह है कि हृदय रोग के मरीजों को भी पनीर के सेवन की सलाह दी जाती है (1)। इसके साथ ही यह हृदय रोग के जोखिम को भी कम कर सकता है। हालांकि, इसका कौन सा गुण इसके लिए प्रभावी है, इसके लिए अभी और जानकारी की जरूरत है, लेकिन हम ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने को इसका कारण मान सकते हैं।

दरअसल, हमने पहले ही जानकारी दी थी कि पनीर उच्च रक्तचाप के जोखिम को कम कर सकता है (3)। वहीं, उच्च रक्तचाप कई बार हृदय रोग का जोखिम पैदा कर सकता है (30)। तो हृदय रोग के जोखिम को कम करने के लिए ब्लड प्रेशर का नियंत्रित रहना आवश्यक है (31)। ऐसे में पनीर को ब्लड प्रेशर संतुलित करने के डाइट में शामिल किया जा सकता है।

15. दृष्टि सुधार में पनीर सहायक

स्वस्थ आंखों के लिए विटामिन ए और फैटी एसिड जैसे पोषक तत्वों को जरूरी माना गया है (32)। वहीं, पनीर में ये दोनों ही पोषक तत्व मौजूद हैं (14)। ऐसे में आंखों के लिए पनीर को लाभकारी माना जा सकता है। हालांकि, इसे प्रमाणित करने के लिए विस्तृत रूप से और अधिक अध्ययन की आवश्यकता है। अगर आंखों की परेशानी ज्यादा हो तो बेहतर इस बारे में तुरंत डॉक्टरी सलाह लें।

16. कैंसर से बचाव में सहायक

कैंसर एक गंभीर बीमारी है। कैंसर से बचाव के लिए डाइट काफी मायने रख सकता है। एनसीबीआई (नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नॉलोजी इंफॉर्मेशन) की वेबसाइट पर प्रकाशित शोध के अनुसार, पनीर और अलसी के बीज का तेल डाइट में शामिल करने से कैंसर का जोखिम कम किया जा सकता है (33)।

फिलहाल, इस बारे में अभी और शोध की आवश्यकता है, लेकिन एक स्वस्थ आहार के तौर पर पनीर को डाइट में शामिल किया जा सकता है। ध्यान रहे कि कैंसर का इलाज किसी भी घरेलू उपचार से संभव नहीं है। अगर कोई व्यक्ति कैंसर से ग्रस्त है, तो डॉक्टरी इलाज को ही प्राथमिकता दें।

17.स्वस्थ त्वचा के लिए पनीर

स्वस्थ त्वचा के लिए पोषक तत्वों की आवश्यकता होती है। उन्हीं पोषक तत्वों में से एक विटामिन-ए है। त्वचा को स्वस्थ रखने के लिए विटामिन-ए सहायक हो सकता है (34)। ऐसे में डाइट में विटामिन-ए युक्त पनीर को शामिल करना अच्छा विकल्प हो सकता है (1)। इसके अलावा, पनीर का फेस मास्क लगाना भी लाभकारी हो सकता है। एनसीबीआई की वेबसाइट पर प्रकाशित स्टडी के अनुसार, विटामिन-ए का उपयोग त्वचा पर बढ़ती उम्र के लक्षणों को कम करने में सहायक पाया गया है (35)। इसके साथ ही पनीर को भी झुर्रियों के लिए प्रभावकारी माना गया है (3)।

18. स्वस्थ बालों के लिए पनीर

झड़ते बालों की समस्या लगभग हर दूसरे व्यक्ति को होती है। हालांकि, महिलाओं को यह समस्या रजोनिवृत्ति यानी मेनोपौज के दौरान भी हो सकती है। ऐसे में एमिनो एसिड युक्त खाद्य पदार्थ बालों के लिए लाभकारी हो सकते हैं। झड़ते बालों के लिए डाइट में एमिनो एसिड युक्त पनीर अच्छा विकल्प हो सकता है (36)। इसके साथ ही पनीर में प्रोटीन भी होता है, जो बालों के लिए उपयोगी हो सकता है।

बने रहें हमारे साथ

अब जानते हैं पनीर में मौजूद पोषक तत्वों के बारे में।

पनीर के पोषक तत्व – The nutritional value of Paneer In Hindi

अब लेख के इस भाग में हम पनीर में मौजूद पोषक तत्वों के बारे में जानकारी साझा कर रहे हैं। यहां हम नीचे टेबल के जरिए पनीर में मौजूद पोषक तत्वों की जानकारी दे रहे हैं (14):

पोषक तत्वमात्रा 
ऊर्जा321 केसीएएल
प्रोटीन21.43 ग्राम
टोटल लिपिड (फैट)25 ग्राम
कार्बोहाइड्रेट3.57 ग्राम
शुगर3.57 ग्राम
कैल्शियम714 मिलीग्राम
सोडियम18 मिलीग्राम
विटामिन-ए आईयू714 आईयू
फैटी एसिड, टोटल सैचुरेटेड16.07 ग्राम
कोलेस्ट्रॉल89 मिलीग्राम

आगे अभी और है

पनीर के पौष्टिक तत्व के बाद जानते हैं दूध से पनीर बनाने का तरीका।

दूध से पनीर बनाने की विधि – How to make Paneer at home In Hindi

बाजार से तो पनीर खरीद ही सकते हैं, लेकिन घर में भी बड़ी ही आसानी से पनीर बनाई जा सकती है। यहां हम इसी की जानकारी दे रहे हैं। तो दूध से पनीर बनाने का तरीका कुछ इस प्रकार है:

सामग्री:

  • एक से दो लीटर दूध
  • दो नींबू
  • एक साफ सूती कपड़ा

दूध से पनीर बनाने की विधि:

  • सबसे पहले एक पतीले में दो लीटर दूध डालें।
  • फिर उसे गैस पर गर्म होने के लिए चढ़ा दें।
  • जब दूध गर्म होने लगे, तो गैस की आंच कम करके उसमें नींबू का रस मिलाएं।
  • फिर जब दूध फट जाए और पानी अलग होकर ऊपर आ जाए तो गैस बंद कर दें।
  • अब एक साफ बर्तन पर साफ कॉटन का कपड़ा रखें।
  • फिर उस कपड़े में पनीर को डालकर अच्छे से छान लें।
  • नींबू की वजह से पनीर में खट्टापन आ सकता है, ऐसे में छाने हुए पनीर में एक से दो गिलास पानी मिलाकर उसी कपड़े में धो दें।
  • अब पनीर को अच्छे से कपड़े में ही निचोड़ें और गोल घुमाकर कपड़े में गांठ बांध दें।
  • फिर एक साफ प्लेट लें और उस पर बांधे हुए पनीर को रखें और उस पर एक और प्लेट रखकर किसी भारी चीज से ढक दें।
  • कम से कम आधे घंटे तक रहने दें।
  • चाहें तो हाथ से पनीर को दबा सकते हैं।
  • कम से कम आधे घंटे तक भारी चीज से ढके होने के बाद पनीर से प्लेट को हटाएं और पनीर के कपड़े को खोलकर एक अलग
  • बर्तन में पनीर निकाल लें।
  • तैयार है घर में ताजा पनीर।

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पनीर बनाने का तरीका जानने के बाद अब जानते हैं कि इस पौष्टिक पनीर को खाने में कैसे शामिल किया जाए।

खाने में पनीर का उपयोग कैसे करें – How to incorporate cottage cheese into your diet

पनीर के फायदे जानने के बाद अब आप इसे आहार में शामिल करने के बारे में तो सोच ही रहे होंगे। तो इसी विषय में जानकारी हम लेख के इस भाग में दे रहे हैं। तो अपनी डाइट में पनीर को आप कुछ इस प्रकार शामिल कर सकते हैं :

  • कच्चे पनीर पर हल्का काला नमक डालकर सेवन कर सकते हैं।
  • पनीर की कई तरह की सब्जियां जैसे – पालक पनीर, शाही पनीर व मलाई पनीर बनाकर सेवन कर सकते हैं।
  • पनीर की भुर्जी बनाकर खा सकते हैं।
  • अगर स्पाइसी खाना पसंद हो तो पनीर चिल्ली बनाकर सेवन कर सकते हैं।
  • पनीर टिक्का बनाकर सेवन कर सकते हैं।
  • हेल्दी स्नैक्स के तौर पर पनीर को सैंडविच में उपयोग कर सकते हैं।
  • पनीर रोल बनाकर सेवन कर सकते हैं।

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कॉटेज चीज इन हिंदी अब जानते हैं कि पनीर को कैसे स्टोर कर सकते हैं।

पनीर को कितने दिनों तक और कैसे सुरक्षित रखें? – How to Keep Paneer Fresh in Hindi

पनीर खाने के फायदे व उपयोग जानने के बाद अब हम पनीर को स्टोर करने का तरीका साझा कर रहे हैं। तो आइए जानते हैं पनीर को स्टोर करने का सही तरीका :

  • पनीर को किसी प्लास्टिक के एयर टाइट डिब्बे में डालें।
  • अब उसमें पीने का पानी इतना डालें कि पनीर डूब जाए।
  • फिर डिब्बे का ढक्कन बंद कर दें।
  • अगर बाजार से पनीर खरीद रहे हैं, तो उसके बनने की तिथि और एक्सपायरी डेट देख लें।
  • फिर पनीर के पैकेट को बिना खोले हुए ही फ्रिज में रख दें।
  • हमेशा पनीर को फ्रिज के अंदर की तरफ रखें, ताकि बार-बार फ्रिज खोलने से तापमान में होने वाले बदलाव का असर पनीर पर न हो।
  • बाजार वाले पनीर को एक्सपायरी डेट के पहले तक बिना खोले फ्रिज में रख सकते हैं।
  • पनीर को कम से कम एक हफ्ते तक स्टोर किया जा सकता है।
  • बाजार वाले पनीर को एक्सपायरी डेट निकलने के एक दिन पहले तक स्टोर कर सकते हैं।

आगे है और जानकारी

अब जानते हैं पनीर खाने के नुकसान के बारे में।

पनीर खाने के नुकसान – Side Effects Of Eating Paneer in Hindi

किसी भी चीज के अधिक सेवन से उसके दुष्प्रभाव भी हो सकते हैं। ठीक उसी तरह पनीर के फायदे तो कई हैं, लेकिन अधिक उपयोग से कुछ नुकसान भी हो सकते हैं। ऐसे में अत्यधिक सेवन से पनीर के नुकसान क्या हो सकते हैं, इसकी जानकारी हम नीचे दे रहे हैं:

  • जिन्हें लैक्टोज इंटॉलेरेंस की समस्या है, उनके लिए पनीर का सेवन एलर्जिक हो सकता है। हालांकि, पनीर में कम मात्रा में लैक्टोज होता है, लेकिन फिर भी सावधानी के तौर पर कम सेवन बेहतर है।
  • पनीर प्रोटीन का एक अच्छा स्त्रोत है, ऐसे में प्रोटीन का अधिक सेवन मितली, सिरदर्द, भूख में कमी व थकान की समस्या का कारण बन सकता है (37)।
  • अनपॉश्चरीकृत दूध से बने पनीर का सेवन न करें, इसमें हानिकारक बैक्टीरिया होते हैं, जो गर्भवती महिलाओं में गर्भपात का कारण बन सकते हैं (29)।
  • कुछ लोगों को दूध युक्त खाद्य पदार्थों से कील-मुंहासों की समस्या हो सकती है। ऐसे में पनीर का सेवन भी एक्ने का कारण बन सकता है (38)।
  • अत्यधिक पनीर का सेवन माइग्रेन और सिरदर्द का कारण बन सकता है (39)।

ये थे पनीर से जुड़े सभी महत्वपूर्ण जानकारियां। पनीर न सिर्फ स्वादिष्ट खाद्य पदार्थ है, बल्कि गुणकारी भी है। अगर कोई बाजार का पनीर न खाना चाहे, तो इस लेख में दूध से पनीर बनाने की विधि भी बताई गई है। ये पनीर बनाने की विधि पढ़कर आप आसानी से घर में ही पनीर बना सकते हैं। हालांकि, लेख में पनीर खाने के फायदे और नुकसान दोनों के बारे में जानकारी दी गई है। ऐसे में इसका संतुलित मात्रा में सेवन कर इसके फायदों के लुत्फ उठाएं। साथ ही इस लेख को दूसरों के साथ शेयर करके उन्हें भी पनीर के फायदों से अवगत कराएं।

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

क्या पनीर हर रोज खा सकते हैं?

नहीं, पनीर के अधिक सेवन से इसके नुकसान भी हो सकते हैं, जिसके बारे में लेख में पहले ही जानकारी दी गई है। ऐसे में इसका हर रोज सेवन करने से बचें।

क्या खाने में पनीर को शामिल करना स्वस्थ है?

हां, पनीर एक पोषक तत्वों से भरपूर खाद्य पदार्थ है। इसलिए, डाइट में पनीर को शामिल करना अच्छा विकल्प हो सकता है।

एक दिन में कितना पनीर खा सकते हैं?

एक दिन में एक छोटी कटोरी पनीर की सब्जी खाई जा सकती है। अगर क्यूब्स की बात की जाए तो 4-5 पनीर के छोटे क्यूब का सेवन किया जा सकता है। हालांकि, यह व्यक्ति की उम्र और शारीरिक स्थिति पर भी निर्भर करता है। ऐसे में बेहतर है कि इस बारे में आप डॉक्टर या डायटीशियन की सलाह लें।

क्या पनीर में फैट होता है?

हां, पनीर में फैट और प्रोटीन होता है (1)।

पनीर और सामान्य चीज़ में कौन ज्यादा बेहतर है?

दोनों ही अपनी-अपनी जगह हेल्दी हैं और दोनों के ही अपने फायदे हैं। यह व्यक्ति की जरूरत और स्वास्थ्य स्थिति पर निर्भर करता है कि वो किसका सेवन करना चाहता है।

किसी प्रकार का पनीर ज्यादा बेहतर हो सकता है?

लो फैट पनीर बेहतर हो सकता है।

पनीर के लिए एक अच्छा विकल्प क्या हो सकता है?

पनीर के विकल्प के तौर पर कई अन्य खाद्य पदार्थों का सेवन भी किया जा सकता है जैसे: अंडे का सफेद भाग, टोफू, दही।

पनीर और दही में से क्या ज्यादा हेल्दी है?

दोनों ही बेहतर हैं और दोनों के ही अपने-अपने फायदे हैं। अगर किसी को लैक्टोज इंटोलेरेंस है तो वे दही का सेवन कर सकते हैं । फिर भी ध्यान रहे कि लैक्टोज इंटोलेरेंस से परेशान रहने वाले लोग इनका सावधानी से या डॉक्टर से परामर्श के अनुसार ही करें।

क्या पनीर खाने से वजन बढ़ता है?

पनीर वजन को कम करने या संतुलित रखने में सहायक हो सकता है (3)। हालांकि, यह व्यक्ति के वर्तमान वजन और शारीरिक स्थिति पर भी निर्भर करता है। साथ ही संतुलित मात्रा में लो फैट पनीर का सेवन बेहतर हो सकता है।

क्या पनीर शरीर को डिटॉक्सीफाई कर सकता है?

पनीर में फास्फोरस होता है (4)। ऐसा माना जाता है कि फास्फोरस शरीर को डिटॉक्सीफाई कर सकता है। हालांकि, इस संबंध में अभी शोध की आवश्यकता है।

References

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  31. Heart Diseases
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  37. Acne
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  38. Food allergy
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  39. Cheese cottage creamed large or small curd
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Puja Kumari
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