विषय सूची
कई महिलाएं अपने शिशु के लिए दूध का विकल्प ढूंढती हैं। ऐसे में चावल के पानी का उपयोग करना कितना लाभकारी हो सकता है, इसे लेकर कई महिलाओं के मन में संशय रहता है। ऐसे में मॉमजंक्शन का हमारा यह लेख इस संशय को दूर करने के लिए है। यहां हम बताएंगे कि शिशुओं के लिए चावल का पानी अच्छा है या नहीं। अगर अच्छा है तो, बच्चों के लिए यह किस प्रकार लाभकारी हो सकता है। साथ ही यहां हम इसे बनाने की विधि और इसके नुकसानों की भी चर्चा करने वाले हैं।
सबसे पहले समझिए कि बच्चों को चावल का पानी देना सही है या नहीं।
क्या शिशु के लिए चावल का पानी (माड़) अच्छा है?
हां, शिशुओं के लिए चावल का पानी अच्छा माना जा सकता है। दरअसल, चावल के पानी को इलेक्ट्रोलाइट सॉल्यूशन का एक बेहतरीन विकल्प माना गया है। यह बच्चों में हल्के डिहाइड्रेशन को ठीक कर सकता है। इस बात की जानकारी एनसीबीआई (National Center for Biotechnology Information) की वेबसाइट पर प्रकाशित एक शोध से मिलती है (1)।
अब बारी है बच्चों को चावल का पानी देने के उम्र के बारे में जानने की।
छोटे बच्चों को चावल का पानी कब से देना चाहिए?
अगर बात की जाए बच्चों को चावल का पानी देने के उम्र की तो, इस पर हुए एक शोध के मुताबिक 6 से 8 महीने की उम्र के शिशुओं को चावल के पानी का सेवन कराया जा सकता है (2)। वहीं, एनसीबीआई की वेबसाइट पर प्रकाशित एक अन्य अध्ययन में 3 महीने से 35 महीने के शिशुओं को भी चावल का पानी देने की जानकारी मिलती है (3)। वहीं, अगर चावल के पानी को लेकर थोड़ी सी भी उलझन हो या शिशु को कोई स्वास्थ्य समस्या हो तो बच्चे को चावल का पानी देने से पहले डॉक्टर की सलाह लें।
चलिए, अब जरा चावल के पानी में मौजूद पोषक तत्वों को भी जान लीजिए।
चावल के पानी का पोषण मूल्य
अगर हम चावल के पानी में मौजूद पोषक तत्वों की बात करें तो, बता दें कि इसमें कई बायो एक्टिव कंपाउंड मौजूद होते हैं। इसके अलावा, राइस वॉटर एंटीऑक्सीडेंट गुणों से भी भरपूर होता है (4)। हालांकि, विशेषज्ञों की मानें तो चावल की तुलना में चावल के पानी में कम पोषक तत्व होते हैं। ऐसे में बच्चों को इसका सेवन अन्य पूरक खाद्य पदार्थों, जैसे – मैश किए हुए फल, सब्जी या प्यूरी के साथ ही कराया जाना चाहिए। इससे बच्चों में प्रोटीन और फाइबर जैसे अहम पोषक तत्वों की कमी के जोखिम को रोका जा सकता है।
लेख के इस हिस्से में जानिए बच्चों के लिए चावल के पानी के लाभ।
छोटे बच्चों के लिए माड़ के लाभ
शिशुओं को चावल का पानी देना कई मायनों में लाभकारी साबित हो सकता है। यहां हम उन्हीं फायदों की चर्चा कर रहे हैं :
1. दस्त की समस्या के लिए : बच्चों में दस्त की समस्या को रोकने के लिए चावल का पानी उपयोगी साबित हो सकता है। एनसीबीआई की वेबसाइट पर प्रकाशित एक शोध के मुताबिक, चावल के पानी का इस्तेमाल एक बेहतरीन इलेक्ट्रोलाइट सॉल्यूशन के तौर पर किया जा सकता है, जो शिशुओं में दस्त की समस्या को रोकने में कारगर साबित हो सकता है (1)। हालांकि, अगर दस्त की परेशानी अधिक हो तो चावल के पानी या घरेलू उपायों पर निर्भर न करते हुए डॉक्टरी सलाह लें।
2. शरीर के तापमान के लिए : शिशुओं के शरीर के तापमान को बनाए रखने के लिए माड़ के फायदे देखे जा सकते हैं। फर्मेन्टेड राइस वॉटर पर हुए शोध से पता चलता है कि इसमें कूलिंग प्रभाव होता है। ऐसे में सुबह नाश्ते के रूप में माड़ का सेवन करने से बच्चों के शरीर के तापमान को संतुलित रखने में मदद मिल सकती है (5)।
3. एनर्जी के लिए : चावल का पानी बच्चों के लिए एनर्जी बूस्टर का भी काम कर सकता है। इस पर हुए एक शोध से जानकारी मिलती है कि फर्मेन्टेड चावल का पानी बच्चों में ऊर्जा का संचार कर सकता है, जिससे बच्चे खुद को पूरे दिन ऊर्जावान महसूस कर सकते हैं। साथ ही इससे पेट दर्द की समस्या और सिर दर्द की समस्या कम हो सकती है (5)। हालांकि, इसके पीछे इसका कौन सा गुण काम कर सकता है, फिलहाल इस बारे में शोध की कमी है।
4. सूजन संबंधी समस्या के लिए : चावल का पानी सूजन संबंधी समस्याओं में भी फायदा पहुंचा सकता है। इससे जुड़े एक शोध में बताया गया है कि चावल का पानी सूजन संबंधी समस्याओं के लिए एक बेहतरीन ड्रिंक के तौर पर काम कर सकता है। इसके अलावा मूत्र संबंधी समस्याओं (Dysuria) में भी इसके लाभ देखे जा सकते हैं (6)।
5. संक्रमण से बचाव के लिए : शिशुओं में संक्रमण संबंधी समस्याओं को दूर करने के लिए भी चावल का पानी उपयोगी साबित हो सकता है। दरअसल, चावल के पानी में एंटी माइक्रोबॉयल और फर्मेन्टेड चावल के पानी में एंटी बैक्टीरियल गुण मौजूद होते हैं, जो बैक्टीरिया के कारण होने वाले संक्रमण से बचाने में लाभकारी हो सकते हैं। इतना ही नहीं, चावल के पानी में एंटी-कैंसर गुण भी मौजूद हैं, जो कैंसर जैसे गंभीर बीमारी के जोखिम को कम कर सकता है (7)। इस आधार पर यह माना जा सकता है कि माड़ का इस्तेमाल शिशुओं को संक्रमण से बचाने के लिए किया जा सकता है।
6. एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर : शोध बताते हैं कि चावल के पानी में मौजूद फेनोलिक कंपाउंड एंटीऑक्सीडेंट गुण से समृद्ध होते हैं, जो मुक्त कणों से होने वाली बीमारियों से शिशुओं को बचाने में सहायक माने जा सकते हैं (7)। बता दें कि मुक्त कण ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस का कारण बन सकता है, जो हृदय रोग, कैंसर, अल्जाइमर, जैसी कई स्वास्थ्य समस्याओं का जोखिम बढ़ा सकता है (8)। वहीं, एंटीऑक्सीडेंट इस प्रकार के फ्री रेडिकल्स यानी मुक्त कणों से लड़ने में शरीर की मदद कर सकता है (9)।
7. त्वचा के लिए : स्वास्थ्य के अलावा बच्चों की त्वचा के लिए भी फर्मेन्टेड चावल का पानी लाभकारी साबित हो सकता है। जैसा कि हमने बताया कि फर्मेन्टेड चावल के पानी में कूलिंग इफेक्ट मौजूद होता है, जो त्वचा को धूप से बचाने के साथ-साथ मुंहासे और छाले से भी राहत दिलाने में मदद कर सकता है। साथ ही इसमें पीएच की अच्छी मात्रा होने के कारण यह त्वचा की लोच में सुधार कर सकता है (5)।
8. बालों के लिए : फर्मेन्टेड चावल का पानी बच्चों के बालों के लिए भी फायदेमंद हो सकता है। बताया जाता है कि इसमें पीएच की अच्छी मात्रा होने के कारण यह बालों को चमकदार और लंबा करने के साथ-साथ सफेद होने से बचाने में भी मदद कर सकता है (5)।
नोट : चावल के पानी को मां के दूध का विकल्प समझने की भूल न करें। इसकी गिनती पोषण के एकमात्र स्रोत के रूप में नहीं की जा सकती है।
चावल के पानी के फायदे जानने के बाद इसके नुकसानों को भी जान लीजिए।
छोटे बच्चे को चावल के पानी से नुकसान
बच्चों के लिए चावल का पानी कितना फायदेमंद साबित हो सकता है, यह समझने के बाद अब इसके नुकसानों को भी जान लीजिए :
- माड़ में बेहद कम पोषक तत्व मौजूद होते हैं। ऐसे में अधिक मात्रा में बच्चों को चावल का पानी देने से उनमें पोषक तत्वों की कमी हो सकती है (5)।
- चावल की गिनती एलर्जी वाले खाद्य पदार्थ के रूप में की जाती है (10)। ऐसे में कुछ मामलों में चावल का पानी एलर्जी की समस्या का कारण बन सकता है।
- चावल में इनऑर्गेनिक आर्सेनिक की मात्रा मौजूद होती है। यह बच्चों में तंत्रिका संबंधी समस्या उत्पन्न कर सकता है (11)।
- शिशुओं को अधिक मात्रा में चावल का पानी देने से वे दूध पीने से मना कर सकते हैं। दरअसल, चावल का पानी पीने के बाद शिशुओं का पेट भर सकता है,
- जिससे उन्हें भूख और प्यास कम लग सकती है और वह दूध पीने से मना कर सकते हैं (12)।
यहां हम शिशु को चावल का पानी देने से जुड़ी कुछ जरूरी बातों को बता रहे हैं।
शिशु को माड़ देने से पहले बरती जाने वाली सावधानियां
बच्चों को माड़ यानी चावल का पानी देते समय कुछ खास बातों का ख्याल रखना भी जरूरी होता है। नीचे क्रमवार तरीके से जानें उन खास बिंदुओं को:
- बच्चों को दिए जाने वाले चावल को उबालने से पहले अच्छी तरह साफ जरूर कर लें।
- बच्चों को दिए जाने वाले माड़ में कभी भी सोया मिल्क न मिलाएं। इससे बच्चे को एलर्जी हो सकती है।
- चाहें तो एक साल से बड़े बच्चे को चावल का पानी देते वक्त चावल के पानी में गाय का दूध मिला सकते हैं। हालांकि, ऐसा तभी करें जब बच्चा गाय के दूध को पचाने की क्षमता रखता हो।
- शिशुओं को केवल सफेद चावल से बना ही माड़ पिलायें।
- बच्चे को चावल का पानी देने के लिए केवल छोटे या मध्यम आकार के चावल का ही चुनाव करें।
- शिशुओं को चावल का पानी देने के साथ-साथ दूध या फिर उससे दी जाने वाली अन्य फॉर्मूला को भी जारी रखें। हालांकि अधिक फायदे के लिए बच्चे के फॉर्मूला पाउडर में माड़ को मिला सकती हैं।
- शिशु को माड़ देने से पहले उसे पतला जरूर कर लें।
- बच्चों को चावल का पानी देने से पहले यह सुनिश्चित जरूर कर लें कि कहीं बच्चे को उससे एलर्जी तो नहीं। इसकी जांच के लिए शिशु की त्वचा पर पहले हल्की मात्रा में माड़ लगाएं या फिर उसे छोटे चम्मच से एक चम्मच माड़ पिलाएं और देखें कि चावल का पानी देने के बाद बच्चे को किसी प्रकार की समस्या, जैसे- उल्टी, चकत्ते या सांस लेने में कठिनाई आदि तो नई हो रही। अगर बच्चे में इनमें से कोई भी लक्षण दिखते हैं तो उससे दोबारा माड़ न दें या फिर देने से पहले डॉक्टरी सलाह जरूर लें।
- इसके अलावा, शिशुओं को सही उम्र में माड़ देने के लिए एक बार डॉक्टर से परामर्श जरूर लें।
नोट : अगर मन में संशय हो तो चावल के पानी में फॉर्मूला पाउडर या गाय का दूध मिलाने से पहले डॉक्टरी सलाह लें।
लेख के आखिरी हिस्से में जानिए माड़ बनाने की विधि।
बच्चों के लिए चावल का पानी (माड़) बनाने की विधि
शिशुओं के लिए माड़ बनाना बहुत आसान है। नीचे स्क्रॉल कर जानिए चावल का पानी कैसे बनता है :
सामग्री:
- चावल – दो बड़ा चम्मच
- पानी – एक से डेढ़ कप
बनाने की विधि:
- सबसे पहले चावल को तीन से चार बार पानी से अच्छी तरह से धोएं। चाहें तो चावल को धोने के लिए गुनगुने पानी का भी इस्तेमाल कर सकते हैं।
- इसके बाद धुले हुए चावल को एक पैन में डालें और फिर उसमें पानी मिलाएं।
- अब इसे गैस पर चढ़ाकर तब तक उबालें जब तक कि चावल अच्छी तरह से पक कर नर्म न हो जाए।
- चावल के पकने के बाद गैस को बंद कर दें और चावल के पानी को छन्नी की मदद से एक अलग बर्तन में छान लें।
- अब चाहें तो इसका स्वाद बढ़ाने के लिए इसमें चुटकीभर नमक मिला सकती है , लेकिन इसके लिए बच्चे की उम्र 1 साल से अधिक होनी चाहिए।
छोटे बच्चों के लिए चावल का पानी एक बेहद आसान रेसेपी है जिसे मिनटों मैं तैयार किया जा सकत है। इस लेख के माध्यम से आपको इसके फायदे और नुकसान दोनों के बारे में जानकारी मिल ही गई होगी। साथ ही यहां हमने इसे बनाने की विधि भी बताई है। वहीं, शिशुओं को माड़ देते समय लेख में बताई गई सावधानियों को ध्यान में जरूर रखें। बच्चों के आहार से जुड़ी ऐसी ही जानकारियों के लिए विजिट करते रहें मॉमजंक्शन की वेबसाइट।
References
2. Complementary Feeding Practices: A Critical Intervention For Survival And Well Being Of Children By International Journal of Recent Scientific Research
3. [Management of acute diarrheal disease with rice water] By NCBI
4. Rice Water: A Traditional Ingredient with Anti-Aging Efficacy By MDPI
5. Effective Utilization of Fermented Rice Water By Researchgate
6. Rice – A Nutraceutical By Uma Ahuja
7. Probiotic and anticancer activity of fermented rice water By The Pharma Innovation Journal
8. Antioxidants: In Depth By NIH
9. Antioxidants By Better Health
10. Identification of major rice allergen and their clinical significance in children By NCBI
11. Statement by Dr. Susan Mayne on FDA efforts to reduce consumer exposure to arsenic in rice By FDA
12. Nutrition By IAP Textbook of Pediatrics
Community Experiences
Join the conversation and become a part of our vibrant community! Share your stories, experiences, and insights to connect with like-minded individuals.