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टीनएज उम्र का नाजुक दौर होता है। इस उम्र के बच्चे हर एक चीज को लेकर उत्तेजित होते हैं। नए-नए दोस्त बनाते हैं और भावनाएं मिलने पर प्यार में पड़ जाते हैं। कई बार कम समझदारी और अनुभव न होने के कारण वो रिश्तों को ठीक से निभा नहीं पाते, जिससे उनके दिल को ठेस पहुंच सकती है। ऐसे में माता-पिता टीनएज बेटे और बेटी के ब्रेकअप को कैसे हैंडल करें, इससे जुड़े कुछ कारगार टिप्स मॉमजंक्शन की इस लेख में दिए गए हैं।
टीनएज ब्रेकअप से कैसे बाहर आएं, जानने के लिए पढ़ें यह लेख।
टीनएज ब्रेकअप को कैसे हैंडल करें?
टीनएज ब्रेकअप की स्थिति किसी बी मा बाप के लिए चुनौतीपूर्ण हो जाती है। माता-पिता नहीं समझ पाते कि वो ऐसे समय में कैसे रिएक्ट करें, लेकिन ऐसे समय पर पेरेंट्स को बच्चे पर गुस्सा करने की बजाय उनसे बात करनी चाहिए। उनके साथ समय व्यतीत करना चाहिए। टीनेज ब्रेकअप को अभिभावक किस तरह हैंडल करें, इसके बारे में लेख में आगे विस्तार से जानकारी दे रहे हैं।
सबसे पहले हम टीनएजर बेटे को ब्रेकअप से बाहर निकालने से जुड़ी टिप्स साझा कर रहे हैं।
टीनएजर बेटे के लिए ब्रेकअप से निपटने के टिप्स | Tips for teenage son to deal with breakup in hindi
किसी भी उम्र में ब्रेकअप से निपटना कठिन होता है। खासतौर से यह मुश्किल तब बढ़ जाती है जब बच्चा किशोरावस्था में हो। ऐसे में नीचे दिए गए टिप्स आपके टीनएजर बेटे को इस स्थिति से बाहर लाने में कुछ हद तक मदद कर सकते हैं।
1. दोस्त बनें
अगर बेटे का ब्रेकअप हुआ है, तो अपनी तरफ से उनका मित्र बनने की पूरी कोशिश करें। अपने किशोर बेटे के साथ अपने रिश्ते में दोस्ताना व्यवहार लाएं। उन्हें इस बात का एहसास दिलाएं कि रिलेशनशिप बनाना गलत नहीं है और कभी-कभी कुछ रिश्ते अधूरे भी रह जाते हैं। उन्हें यकीन दिलाएं कि जीवन में उन्हें फिर से एक नया साथी मिलेगा जो उन्हें भरपूर प्यार करेगा।
2. खुद को समय देना सिखाएं
कहते हैं कि “समय हर जख्म को भर देता है”। यह सिर्फ कहावत नहीं हैं, जो लोग इस दौर से गुजर चुके हैं, उन्हें इसकी परिभाषा और अहमियत दोनों की समझ होती है। यही वजह है कि अगर टीनएज ब्रेकअप हुआ है, तो बेटे को उस स्थिति से बाहर आने के लिए पूरा समय दें। साथ ही बेटे को यह भी समझाएं कि उन्हें खुद को समय देना चाहिए, ताकि वह मानसिक रूप से खुद को ब्रेकअप के दर्द से बाहर निकाल सके।
3. पूरानी यादों से निकालें
बेटे को उसकी पुरानी यादों से बाहर निकालनें में मदद करें। उसे बताएं कि साथी के साथ बिताए पलों या उसके साथ किए गए वादों के बारे में उसे अब नहीं सोचना चाहिए। ब्रेकअप क्यों हुआ, किस गलती की वजह से हुआ, उसे कैसे ठीक किया जा सकता है, इन मुद्दों पर न तो बेटे से बात करें और न ही उसे इस बारे में सोचने दें।
4. भावनाओं को व्यक्त करना सिखाएं
टीनएज बेटे को अपने दुख को व्यक्त कने का मौका दें। बच्चा निराश है, तो उसे समझें। उससे बात करें। एक अच्छे श्रोता की तरह उसके मन की बातों को सुनें। अगर ब्रेकअप के बाद बेटे का रोने का मन करता है, तो उसे रोके नहीं। इसमें किसी भी तरह की शर्मिंदगी वाली बात नहीं है। रोने से बेटे का मन हल्का हो सकता है।
5. दोस्तों के साथ वक्त बिताने दें
प्यार में मिला धोखा हर रिश्ते की बुनियाद को खोखला महसूस करवा सकता है। ब्रेकअप के बाद बेटे को अकेले न रहने दें। ऐसी स्थिति में उसके दोस्तों को घर में बुलाकर उनके साथ समय बिताने का मौका दें। अगर कोई उसका बहुत करीबी और विश्वसनीय दोस्त है, तो उसे उससे अपने मन का हाल शेयर करने के लिए प्रोत्साहित कर सकते हैं। चाहें तो उसके दोस्तों के साथ उसे आउटिंग पर ले जाने का प्लान कर सकते हैं।
6. दूसरे रिलेशनशिप में जाने से रोकें
ब्रेकअप के तुरंत बाद बेटे को किसी नए रिश्ते की तरफ आर्कषित न होने दें। उसे समझाएं कि वो खुद को पूरा समय दे। इस तरह जल्दबाजी में उठाया गया कदम भविष्य के लिए गलत फैसला हो सकता है। उसके साथ किसी चीज को लेकर जोर जबरदस्ती न करें। साथ ही उसे पढ़ाई से थोड़ा ब्रेक दें। ऐसे समय में बेटे के साथ किसी तरह की जोर जबरदस्ती न करें।
7. नशे की तरफ जाने से रोकें
फिल्मों में ब्रेकअप के दर्द को भूलाने के लिए अक्सर नशा का सहारा लेते हुए दिखाया जाता है। वहीं, टीनएजर्स की उम्र में फिल्में देखना और उसमें निभाए गए चरित्रों का खासा प्रभाव भी देखा जाता है। ऐसे में हकीकत कि दुनिया में ब्रेकअप होने के बाद बेटे को किसी गलत रास्ते की तरफ भटकने से रोकना पेरेंट्स की जिम्मेदारी है। इसके लिए बेटे पर नजर बनाकर रखें। ध्यान रहे नजर रखने का मतलब यह बिल्कुल नहीं है कि उसकी जासूसी करें या उस पर से विश्वास कम कर दें।
8. अकेला न छोड़ें
कई बच्चे बहुत ज्यादा इमोश्नल होते हैं और ब्रेकअप का सदमा बर्दाश नहीं कर पाते हैं। ऐसे में कुछ बच्चे खुद को हानि पहुंचा सकते हैं। ऐसी स्थिति से बचने के लिए अपने बेटे का पूरा ध्यान रखें। उसकी दिनचर्या पर नजर रखें। उसके साथ ज्यादा से ज्यादा समय बिताएं। उसे उसकी जिंदगी का महत्व समझाएं, जिससे वह कोई गलत कदम न उठाए। हम फिर एक बार कहेंगे कि ध्यान रखने का यह मतलब बिल्कुल नहीं है कि पेरेंट्स उसकी जासूसी या निगरानी करें।
अब पढ़ें, टीनएज बेटी को ब्रेकअप से बाहर निकालने के लिए कुछ खास टिप्स।
टीनएजर बेटी के लिए ब्रेकअप से निपटने के टिप्स | Tips for teenage daughter to deal with breakup in hindi
यह जरूरी नहीं कि सिर्फ टीनएजर बेटे ही ब्रेकअप से गुजरें। टीनएजर बेटी भी ब्रेकअप की मुश्किल घड़ी में पड़ सकती है। नीचे कुछ ऐसे टिप्स बता रहे हैं, जो टीनएजर बेटी को ब्रेकअप के दर्द से बाहर निकालने में मदद कर सकते हैं।
1. सहानुभूति न दें, प्यार दें
ब्रेकअप के बाद बेटा हो या बेटी, पूरी तरह से मानसिक रूप से टूट जाता है। बेटी को ब्रेकअप के दर्द से निकालने के लिए जिस बात का पेरेंट्स को सबसे ज्यादा ध्यान रखना चाहिए वो यह कि उन पर दया न करके प्यार जताएं। माता-पिता द्वारा सहानुभूति जताना ब्रेकअप हुए टीनएज के मन को और अधिर निराश कर सकता है। बेटी को इस बात का एहसास नहीं होने दें कि उनके साथ कुछ बुरा हुआ है। उसे समझाएं कि यह सब नॉर्मल है। उसकी जिंदगी में कुछ बदला नहीं है। उसे जितना हो सके प्यार और सहारा दें।
2. मदद करें
ब्रेकअप से गुजर रही बेटी को प्रोत्साहित करें। उसे उसकी हॉबी को एक्सपलोर करने में मदद करें, ताकि वो दूसरी चीजों में वयस्त हो जाए। ब्रेकअप के बाद मन में चल रहें विचारों और भावनाओं को माता-पिता, दोस्त या किसी करीबी व्यक्ति के साथ साझा करने की सलाह दें। इसके लिए बेटी को प्रोत्साहित करें। ऐसा करने से मन में चल रहे विचारों और उलझनों को सुलझाने में आसानी हो सकती है।
3. दिनचर्या तय करें
ब्रेकअप से परेशान बेटी अगर अकेले समय व्यतीत कर रही है व परिवार के लोगों और दोस्तों से दूरी बना रही है, तो ऐसा न होने दें। उसे ब्रेकअप के दर्द से बाहर निकालने के लिए उसकी एक दिनचर्या बनाएं, जैसे – हर दिन कुछ कामों के करने का समय और तरीका सुनिश्ति करें। इसके लिए उसे घर के कामों से जुड़ी कोई जिम्मेदारी भी दे सकते हैं या उसे किसी तरह के स्पोर्ट्स या हॉबी क्लास जॉइन करा सकते हैं।
4. सोशल मीडिया से ध्यान हटाएं
सोशल मीडिया में दूसरों को साथ देखकर वो फिर से पूरानी यादों में खो सकती है। इससे बेटी को पुराने प्यार को भूलने में परेशानी हो सकती है। ऐसे में बेटी को सोशल मीडिया से दूर रखने का प्रयास करें। अपने साथ बिठाकर उनके साथ समय व्यतीत करें। उसके साथ खेल खेलें। घर के कामों में उसकी मदद लें। उसे शॉपिंग पर लेकर जाएं और उसके साथ एक मजबूत रिश्ता बनाएं।
5. एक्स की खबर न रखने दें
ब्रेकअप के बाद लोग अक्सर अपने कॉमन दोस्तों, सोशल मीडिया या अन्य तरीकों से एक्स के बारे में जानकारी लेते रहते हैं। ब्रेकअप के बाद बेटी को एक्स की यादों से बाहर निकालना है, तो उसे ऐसा करने से रोकें। माता-पिता को अपनी बेटी को समझाना चाहिए कि वो एक्स की खबर न रखें। उसे कोई मैसेज फोन न करें। किसी भी तरह से उसके संपर्क में न रहें। अगर सोशल मीडिया पर एक्स दोस्त की लिस्ट में है, तो वहां से उसे अनफ्रेंड करवा दें।
6. खुद से प्यार करना सिखाएं
ब्रेकअप से बाहर आने का सबसे आसान और अच्छा तरीका है खुद को प्यार करना और अपनी अच्छी देखभाल करना। इसके लिए माता-पिता को अपनी बेटी को खुद की अहमियत समझाते हुए अपना ध्यान रखने की सलाह देनी चाहिए। बेटी को बताएं कि एक्स साथी की यादों में पड़े रहने से शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य प्रभावित हो सकता है। इसलिए उन्हें भरपूर नींद लेने, अच्छा खाना खाने और नियमित रूप से एक्सरसाइज करने की सलाह दें। ध्यान रहे कि खुद से प्यार करने का यह मतलब बिल्कुल नहीं है कि वो स्वार्थी बन जाएं।
7. उनकी बातों का सम्मान करें
ब्रेकअप के बाद अगर किशोर बेटी किसी दूसरे स्कूल या कॉलेज में पढ़ने की इच्छा जताती है और माता-पिता के लिए यह इच्छा पूरी करना संभव है, तो उन्हें बेटी की बातों का सम्मान करना चाहिए। दरअसल, बेटी और उसका एक्स साथी एक ही स्कूल कॉलेज के भी हो सकते हैं। ऐसे में अगर वह एक्स के साथ रिश्ते को भुलाने के लिए कुछ नए तरीके खोज रही है, तो उसमें परिवार वालों को उसका साथ देना चाहिए।
8. लोगों की पहचान करना सिखाएं
जीवन में कई तरह के लोग आते व जाते हैं। उनमें से कुछ अच्छे होते हैं, तो कुछ लोग हमें दुख भी दे सकते हैं। यही बात अपनी बेटी को बताएं। उसे यह समझाएं कि किसी भी इंसान से गहरा लगाव करने से पहले उसे उसकी पहचान करनी चाहिए। अगर वह किसी के साथ दोस्ती या प्यार का रिश्ता शुरू करना चाहती है, तो उसे खुद को उस व्यक्ति के साथ समय देना चाहिए और उसकी पहचान करने के बाद ही रिश्ते को बढ़ावा देना चाहिए।
9. बात करें
हर किसी के लिए टीनएज ब्रेकअप से निकलना आसान नहीं होता है। खासकर तब अगर बेटी खुले रूप से अपनी भावनाएं माता-पिता के सामने व्यक्त न कर पाती हो। बेटी का ब्रेकअप हुआ है, तो माता-पिता को भावनात्मक रूप से उसके करीब रहना चाहिए। समय-समय पर अपने बेटी से बात करते रहें और उसके मन की स्थिति व भावनाओं को समझें। धीरे-धीरे बातचीत के जरिए वह आसानी से अपने मन की बातों को सामने रख सकती है और अपनी तकलीफों को पेरेंट्स के साथ साझा कर सकती है।
आगे पढ़ें टीनएजर्स को ब्रेकअप के बाद कैसे आगे बढ़ना चाहिए, इसके कुछ तरीके।
टीनएज को ब्रेकअप के बाद आगे बढ़ने के लिए प्रोत्साहित करने के तरीके
ब्रेकअप से बाहर आने में कुछ टीनएजर्स को लंबा समय लग सकता है। वहीं, कुछ आसानी से इस स्थिति में खुद को संभाल लेते हैं और नए जीवन की तरफ रूख कर लेते हैं। ऐसे में यहां हम कुछ तरीके बता रहे हैं, जिनके जरिए माता-पिता किशोर को ब्रेकअप के बाद जीवन में आगे बढ़ने के लिए प्रोत्साहित कर सकते हैं।
- ऐसे समय में बच्चे की परेशानी को समझें।
- दोस्तों व अन्य रिश्तेदारों को महत्व देना सिखाएं।
- जीवन के लिए नई योजनाएं व लक्ष्य तय करने के लिए प्रोत्साहित करें।
- किशोर बच्चे की उपल्बधियों को सामने लाना और उसे फिर से उनकी तरफ आकर्षित होना सिखाएं।
- बेटे या बेटी ने जीवन में अगर कोई गलत फैसला लिया है, जिसका उन्हें पछतावा या दुख है, तो उसके लिए उन्हें भाषण न दें। बल्कि, उन्हें अपनी पुरानी गलतियों से सीख लेने और अच्छे फैसले लेने के लिए प्रोत्साहित करें।
- मन में कुछ नया और बेहतर करने की चाह पैदा करना सिखाएं।
- खुद को एक्सप्लोर करने का मौका दें।
- बच्चे को खुश रहना सिखाएं। उसे उन कामों के लिए प्रोत्साहित करें जिसे करके उसके मन को खुशी मिलती हो। ध्यान रहे कि खुद की खुशी के लिए वे बस किसी और को दुख न दें।
- बच्चे के जीवन में ज्यादा टोका-टाकी न करें। अगर वह ब्रेकअप के बाद कहीं घूमने जाना चाहता है, कुछ समय अकेले रहने या किसी नए लक्ष्य के बारे में बात करता है, तो उसके हर फैसले में सहमती दें।
- बच्चों की हॉबी को बढ़ावा दें। बच्चे के पसंदीदा एक्टीविटी के कोर्स में उसका एडमिशन करा सकते हैं।
- ब्रेकअप के बाद किशोर को आगे बढ़ने के लिए प्रोत्साहित करने के लिए उसे वयस्त रहना सिखाएं।
- किशोर के साथ सुबह-शाम थोड़ा टहलने के लिए जाएं। बाहर की ताजी हवा में घूमने से उसका मन अच्छा होगा और उसके मन से नकारात्मक और दुखद विचार भी कम हो सकते हैं (1)।
- किशोर बच्चे के व्यवहार में बदलाव महसूस होने पर उससे बातचीत करें। ध्यान रखें इसके लिए उसपर अधिक जोर न बनाएं।
- किशोर बच्चे को ये बताएं कि इस उम्र में सिर्फ पार्टनर ही नहीं, बल्कि दोस्त, परिवार व रिश्तेदार भी मायने रखतें हैं। इसलिए, उसे अपनी खुशियों के लिए सिर्फ रिलेशनशिप पर निर्भर होने की जरूरत नहीं है।
हर किसी के लिए टीनएज ब्रेकअप को संभालना थोड़ा मुश्किल हो सकता है। खासकर तब अगर किशोर खुले रूप से अपनी भावनाएं माता-पिता को न बताता हो। इसलिए, अगर पेरेंट्स कभी भी अपने किशोर बच्चे के व्यवहार में किसी तरह का बदलाव महसूस करते हैं, तो उन्हें उसके बदले व्यवहार पर उससे बातचीत करनी चाहिए। साथ ही जीवन के ऐसे संवेदनशील चरणों में उन्हें अपने बच्चे का भरपूर सहयोग भी करना चाहिए।
References
- Exercise for Mental Health
https://www.ncbi.nlm.nih.gov/pmc/articles/PMC1470658/
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